Interesting Story: 62 साल की आदिवासी महिला मेसराम नागूबाई बरसों पुरानी परंपरा निभाने के लिए ढाई लीटर तिल का तेल पी गईं. दरअसल, मेसराम थोडासम वंश से ताल्लुक रखती हैं. इनके वंश ने 1961 में कामदेव जात्रा उत्सव शुरू किया था. इस उत्सव की परंपरा है कि इस वंश की बेटी भारी मात्रा में तेल पीकर निभाती है. इससे किसानों के परिवारों में खुशहाली आती है. उनकी फसलें लहलहाती हैं.
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